नजाने कहा ये पिन कू जाते हैं जो हमें यहां दाते हैं
नजाने कहा
तेरी मेरी जो ये बाते हैं ये हमें पहुँचाती हैं
नजाने कहा ये दिल के वरुसे से तुझे मैंने दूना
है नजाने कहा यूचे नीचे रस्ते हमें पहुँचाती हैं
हो भी बता दे आ गए ये दिन्यां तो अब क्या करें
जहां करीब आ गए हैं अब यहां बे बोलो क्या करें
तेरी बाते मुझे को सामझाती हैं फिर बिल जाती हैं खोए हुए दिन फिर यहां
ये दिन कहते हैं इन राहों अब आएगे हम आजाने रस्थों के बारे मांसलने कहीं
जो भी होना है वो तो होगा वैसे अभी जो भी करना है उससे करें अब
कभी दिल केंगा, कभी दिल केंगा...
कभी ये दिल बयलाता है
यितनी इसकी सुन kör बहुत कभी लुलाता है
कभी दील केंगा, कभी द्रिल केंगा
कभी दिल समझ़ाता है
तिन में ठाड़े दिकाई रातो में जगाता है
तोबी दिल कहे, हाँ तोबी दिल कहे, ना
कभी ये दिल बैलाता है जितनी इसकी सुनो बहुत कभी डूलाता है
जाने कहा
ये
कभी दिल कहे,
हाँ तोबी दिल कहे,
ना कभी ये दिल समझाता है
दिन में तारे दिखा, ये रातु में जड़ाता है
जाने कहा
कोई बसा दे आ गए ये दिन यहां से
बोलो क्या करे,
जाना कहीं ता आ गए हैं अब यहां पे बोलो क्या करे,
तेरी बाते हमको समझाती हैं,
तेरे मिल जाती हैं कोई हुए दिन पिया