खजबाज ना समझ दराजाए
अरिश्वि खल जदा जद हुसर के सद्मारा
तैनु अपना बनाया दिली दिता नज़राना
अले गराड़ा विच गियो पर बेठो बिगाना
तैनु अपना बनाया दिली दिता नज़राना
ताकि पंसा थे दिक्रियाला ताकि खाना घास मश्वूर
मेरा नादा हर कोई ना कप्रा है कोई नादा है यहाँ जूरा है
भोली गलीयाँच किया तेरे प्यार दा जिवाना
तैनु अपना बनाया दिली दिता नज़राना
इनसाप गिरा मासून यजल सी ते जद दा तोक पल जहान आ
रोड ते पीछा बतनी के जमीन तभास दुकान
जिसे पल खूख चराए अजकल का
आशक खाके
भर्या तक होता है अगर ने प्यार है यहाँ दिली दा