असपीत असपीत जमरानके
सोचलोगी दिया पित्पानी हम छोबलेवो
छोहरे दीना मेह बौडी लामओ बानी पाउळेखो
पऑले,र्वयपधाले
छहरे दियणा मेह बाडि
लामो बानी पाउळेखो
कबन कचा लिता रो
चमारान के
निर्वित पाई दिगाच्छोछा
चमारान के
सुसलाउने दिया पेछा गई
रुगोरी हो
खाले लगाके चमारान के यस्तो पपड़ी हो
कचा मर्ज के बाई सिजाइल होई सिजाइल
हर मारे लेकारे सुपाइल होई सुपाइल
बाड़ो भी लगाई कोई उदाई
औरे औरे औरी काका
आरुल
जाटो के तु देले बाड़ो
दिलावा हो
रोषन के गहना पे बनावा ताड़ो
रिलावा हो
खोचा मर्ज के बापो भेन बड़े होई स्टापे
भाजलालो में हमरो भेन बड़े होई स्टापे
मुथुनले रूबाल गोरी साही मेहमान के वोसाही मेहमान के
में ताल दि कोट़ बाड़।
खेली नासीन रूबाल गregon में न आसासन करताम चनयालंके
घर्ना पल
पित्सादामननन्न के ॥ thinking uzz
लागीना चमराने जी त्रेनिंग में बड़े