ए राजा जी ए कोही तरीका से ए वे लाग लाग
दिन और रत यो ही फेरा में तू रहे ला
माझा लेवे खाती राजा पाजा में धोरे ला
सुना
दिन और रत यो ही फेरा में तू रहे ला
माझा लेवे खाती राजा पाजा में धोरे ला
जाने वे खाती राजा पांजा में धोरे लो
उते लो नसू देखु हों के दुन्दे वे लो
बोलो जी हों के देख लो
राजा जी बले कोही तो रेका से रोजे लंगा
मा जाने वे लो ठी छूठों रत भो बोरिसान
को के वो बही रोखे लो
राजा जी बले कोही तो रेका से रोखे लो
दिमग में बोई उठ गोई लगा
खाली एक काम हो
कोही यो ना कारे देलो
हो मो के आराम हो
दिमाग में बोईठ गई लगा खाली एके काम हो
कोही यो ना करे देले हमके आराम हो
देहिया के हमारा ना कही को सेला एहो कही को सेला
राजा जी एको ही तरीका से रोजे दंग माझा ले लो
कि जूखों रात भंगोरे सान को के वही रोखे लो
राजा जी एको ही तरीका से माझा ले लो
अर जूँ ना गोलू जी से मेहा दूर रहे ली
हो जाई छाटी देह के रौवासे कहे ली
अर जूँ ना गोलू जी से मेहा दूर रहे ली
राहेली हो जाई छोती देहते हैं रावास काहेली
सुख जाला ओंग तो पानी से भेला हो वाली से भेला
राजा जी एक आही पड़ी गस्व जेला माझा लेवला
कि जुड़ा हो रात बोबारे सन्यान को के पसहे राहेला