पैना के कमर हीले सक्थी गानी मैं जानी ले
नईहर के सवारत हमर होता पलंग के हे रोमा खाला होई जाला
ओलंगे ओलंग के सौखि होई सुनो ना
नईहर के सवारत हमर होता पलंग के हे रोमा खाला होई जाला
ओलंगे ओलंग के देखा लास्ट्र मन भारे खोदी तीले तीले
संया के कमर हीले सक्थी बारी मैं जानी ले
पातर बारे पियावा समाई जाले पांजा में
दूब जालू हो राजा सभे माझा में
तैया हमर माने जोगे जित पचार रहले
कराना में राही डाली दाही खानी महले
पातर बारे पियावा समाई जाले पांजा में
दूब जालू हो राजा सभे माझा में
हम हो रजदार वसी राजा जी रसीले
सैया के कमर हिले सखी बारी माझा मिले
कभो नाही ठाके रहेला उमंग में
जगह तू उठावत लोह सजीया की जोंग में
फरेला चळ्हाई तत्वाल हाई रोज बाजायवेला
न्यंद पूरा होला नाही राथ भर जागावेला
या तो नियद साथी है
जगह नाही ठाके रोज बाई ही जागावेला
अंगा राहिले हम गीले सैया के कमर हीले ता बारी माझा मीले