ओ मैंने फुशियों की
दुआएं सिलाचाहत का मिली है सजाएं सजन पे ईमान निकला
मैंने फुशियों की माँगी दुआएं सिलाचाहत का मिली है सजाएं
सजन पर इमान लिखना, मैंने दुशीयों की
यार जूटा है, प्यार भी जूटा
जिसने दिल का मेरे चैन लूटा, ना सुनी उसने दिल की सदाएं
सजन पर इमान लिखना, मैंने दुशीयों की
मांगी दुआएं, सिला चाहत का
मिली हैं सजाएं, सजन पर इमान लिखना
मैंने दुशीयों की
मैंने सपनों की
मैंने सपनों की
सेज सजाई, रुत मुहापत की रास नहाई
मैंने सपनों की सेज सजाई, छाई खुशियों के धम की घटाएं
सजन पर इमान लिखना, मैंने खुशियों की
मांगी दुआएं, सिला चाहत का
मिली है सजाएं, सजन पर इमान लिखना
मैंने बुशियों की
चाक दामन है
आखे जुगी है, चाक दामन है
आखे जुगी है, नीम बिसमिल हो, सांसें लुगी है
नीम बिसमिल हो, सांसें लुगी है
पिती यादों पे आशू बहाएं, सजन पे इमान लिखना
ओ, ओ, ओ
मैंने बुशियों की माँगी दुआएं
सिला चाहत का मिली हैं सजाएं
सजन पे इमान लिखना
ओ, ओ, ओ
मैंने बुशियों की
जिसकी चाहत में जान गवाई
हो गई वो भी आज पराई
जिसकी चाहत में जान गवाई
गीत रम का किसे अब सुनाएं
सजन पे इमान लिखना
ओ, ओ, ओ
मैंने बुशियों की
माँगी दुआएं
सिला चाहत का मिली हैं सजाएं
सजन पे इमान लिखना
ओ, ओ, ओ
मैंने बुशियों की