अर बेरानी के होएगा पत जड़के पत्ते बिखर लिये
जो मने छोड़ के गए सुन्या में और भी जादा निखर लिये
दो चार दिना तैला कैसे कर याद मने वारोई से
उन्हे के बेरा प्यार हो वैवा नीद चैन की सोई से
दिल तोड़ दिया बालक पन मैं और खुद किसे और की ओई से
उन्हे के बेरा प्यार हो वैवा नीद चैन की सोई से
दिल तोड़ दिया बालक पन मैं और खुद किसे और की ओई से
पूल तूट के कुस बूजा वै इस्तरिया तू चली गई
मैं रूँ अकेला बैठ चोबारे जो कैदी तन बली कई
इब साल और मिने बिते ना ये काड़ी रात परशान करें
इब मरे के पिछा छूटेगा मेरे दुख ने शांत बगवान करें
तेरा लोकेट गड़े में पढ़े आज भी ओटी तेरी लोई सै
दुन्ने के बेरा प्यार हो वैवा नीद चैन की सोई सै
दिल तोड दिया बालक पढ़ मैं और खुद किसे और की ओई सै
दुन्ने के बेरा प्यार हो वैवा नीद चैन की सोई सै
दिल तोड़ दिया बालक पड़ मैं और खुद किसे और कि ओई से
मन जखमी शायर कहन लगे
मजाक बनी या जिन्दगी रह
मेरे पल्ले कुछ भी बागती ना बस पल्ले रहगी बंदगी रह
रोज सवेरे भोडे आडी बुट्टी रहगी जीवन में
गुबडाने आडा इसा बढ़या ना कसर जैर सापीवन में
ना बन पाई अनिल किरानिक जोट प्यार की खोई से
उन्हें के बेरा प्यार हो वैवा नीद चैन की सोई से
दिल तोड़ दिया बालक पण मैं और खुद किसे और की होई से
उन्हें के बेरा प्यार हो वैवा नीद चैन की सोई से
दिल तोड़ दिया बालक पण मैं और खुद किसे और की होई से
प्रस्तुत करते हैं