दो...
तुझ में मेरा जहाँ
बसा है
तुझ में मेरी दूआ लिखी है
तुझ मेरी दूआ लिखी है
तुझ मेरी रूह का सफर तुझ मेरी जिन्दगी की लिखी है
मैं तुझ में जीता हूँ सदा
तुझ मेरी हर दूआ का सबब है
तेरे नैनों का जादू मेरी दुनिया का रंग है
तुझ आये तो मेंका सामा तुझ जाए तो उदास जहाँ
तुझ मेरी रूह का नूर तुझ मेरी जिन्दगी का रंग
तुझ आये तो मेंका सामा तुझ जाए तो उदास जहाँ
तुझ जाए
तो
उदास जहाँ
तुझ में जीता हूँ सदा
तुझ मेरी हर दूआ का सबब है
तेरे नैनों का जादू मेरी दुनिया का रंग है
तुझ आये तो मेंका सामा तुझ जाए तो उदास जहाँ
तुझ आये तो मेंका सामा तुझ
जाए तो उदास जहाँ
तुझ मेरी खारमाई
है
तेरे बिना सब कुछ सुना है