का कोही सोखी बोलम के कहानी कवना घटे लागी हामर जवानी
आवते फलंग पेहे पूछे लागल की हमके बताब गोड़ी है का हो
आवते फलंग पेहे पूछे लागल की हमके बताब गोड़ी है का हो
हम तो होई सया दीरे सोखी आवते फलंग बोलम के कहानी
हम तो होई सयानी रिसोखी हामर दुला हवा लाइका हम तो होई सयानी रिसोखी
हमारा संगे कोबो ना कलात कोईले
कोबो होना हमके आपका बारे धोईले
दुनो ना
हम सादी कोके सोखी पच्छता हतुबानी
रोज घरे में बैठी रोगोल रोटी खा हतुबानी
कुईसन जवानी छोडी बहरे सुतेला मर दे न सोखी न कोई कहा
कुईसन जवानी छोडी बहरे सुतेला मर दे न सोखी न कोई कहा
हम तो हे Для
हम तो होई सयानी रे सोखी
हम तो होई सयानी रे सोखी
जिजनी रहू उठ ना ही जूत भाई
अभिले जवानी बाटे सेप धाई
जब देही में हमाजा उठे लाला और सोखी
मन करे की मर जाई था ये एक जहाँ और सोखी
आरे रोबी राहूल के दोस न बड़ो
तो वो कोई नाहीं कहा
आरे रोबी राहूल के दोस न बड़ो
तो वो कोई नाहीं कहा
हम तो होई सयानी रे सोखी
हमर दुले अभाला इट कहा
हम तो होई सयानी रे सोखी
हमर दुले अभाला इट कहा
हम तो होई सयानी रे सोखी
करते हैं