यदः सक्ता बहुता
तुहाजा बिना मनु पागल हो
रहीला राब तु भड़ जागोलो
आही तरके दापो जोसो जो रह जवनिया
दिलदो हो काम बहुता
आजा बोला माझी घोर भोरी
योरो सता बहुता
आजा बोला
समझे ही घोड़े बड़ी या दोसाता बोंता
आखे फ़शल बैनी पहड़ा देश में
कौटो ता जिनगी राजा जी कोले इसमें
आखे फ़शल बैनी पहड़ा देश में
कौटो ता जिनगी राजा जी कोले इसमें
पोरा में केता लोहता बिता कियाूना धील न धराबोता
आजा बोला माझे घोर
बोला माझे घोर
प्याद सता बहुता आज भलो मज़े ही घोड़े भोड़ी
प्याद सता बहुता आज भलो मज़े ही घोड़े भोड़े
प्याद सता बहुता आज भलो मज़े ही घोड़े भोड़े
या जो सता बहुता आज भलो मज़े ही घोड़े भोड़े
या जो सता बहुता